मस्तूरी
सूरज सिंह
मस्तूरी क्षेत्र के बहुआयामी शिक्षा संस्थान सांदीपनि अकादमी पेंड्री, बिलासपुर में वार्षिक उत्सव व दीक्षान्त समारोह भव्यतापूर्ण मनाया गया ।इस अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप में रामशरण यादव( महापौर, बिलासपुर),अध्यक्ष के रूप में अटल श्रीवास्तव( महामंत्री, प्रदेश कांग्रेस कमेटी छ. ग.) तथा
विशिष्ट अतिथि डॉ पी. के. पात्रा,( डीन, छ. ग. चिकित्सा विज्ञान संस्थान बिलासपुर), अभय नारायण सिंह,(प्रवक्ता, प्रदेश कांग्रेस कमेटी छ. ग.), राजेश शुक्ला(एम. आई. सी. सदस्य स्वास्थ्य नगर निगम बिलासपुर) अजय यादव,(एम. आई. सी.सदस्य लोकनिर्माण विभाग बिलासपुर) नीतेश सिंह,(जनपद उपाध्यक्ष मस्तूरी), दिलीप लहरिया(पूर्व विधायक मस्तूरी), त्रिभुवन चन्द्राकर(डिप्टी कमांडेंट बी. एस. एफ. बिलासपुर) पंकज पटेल,(उप पुलिस अधीक्षक कटघोरा, कोरबा) करुणेश यादव(अभियंता, छ. ग. विद्युत विभाग) उपस्थित रहे।

समारोह का शुभारंभ विद्या की अधिष्ठात्री माँ सरस्वती की छायाचित्र पर दीप धूप कंडिका प्रज्वलित कर किया गया।अतिथियों का स्वागत सांदीपनि अकादमी के निदेशक महेन्द्र चौबे, नरसिंग महाविद्यालय प्राचार्य महेंद्र बर्मन, उपप्राचार्य श्रीमती आर. संखातिर सेल्वी, शिक्षा महाविद्यालय विभागाध्यक्ष श्रीमती रीता सिंह, आई टी आई प्राचार्य सुनील प्रजापति, सांदीपनि पब्लिक स्कूल प्रधान अध्यापक जितेन्द्र कुमार दाश द्वारा पुष्पगुच्छ व स्मृतिचिन्ह भेंटकर किया गया।

संस्कृतिक कार्यक्रम राजकीय गीत’अरपा पैरी के धार’के साथ आरम्भ हुआ। समारोह में भारतीय एवम पाश्चात्य नृत्य ,संगीत का अनूठा, अभिनव प्रयोग ने लोगों को झूमने पर विवश कर दिया। इसके अतिरिक्त बेटी पढ़ाओ, एसिड त्रासदी, लिंग भेद आदि विषयों पर सन्देश देते नुक्कड़ नाटक, छत्तीसगढ़ के लोकनृत्य करमा आदि की मनोहारी प्रस्तुति की गई। कार्यक्रम का विशेष आकर्षण नर्सिंग महाविद्यालय के सैकडों छात्रों द्वारा दीप श्रंखला ‘लैंप लाइटिंग’की विहंगम दृश्य ने दर्शकों को स्तब्ध किया।कार्यक्रम के मध्य में, अकादमीक पुरस्कार तथा दीक्षान्त समारोह भी सम्पन्न किए गए।उपरोक्त अवसर पर मुख्य अतिथि रामशरण यादव ने कहा कि शहर से दूर यह एक ऐसा अकादमी है जो शिक्षा के आधुनिक तकनीकी से लैस क्षेत्र के विद्यर्थियों को बेहतरीन शैक्षणिक वातावरण प्रदान कर रहा है।उदबोधन के इस क्रम में अध्यक्ष की आसन्दी से बोलते हुए अटल श्रीवास्तव ने विद्यार्थियों के बेहतर भविष्य की कामना करते हुए कहा कि उन्हें जीवन की प्रत्येक चुनौतियों का सामना ऐसे ही मुस्कुराते हुए करना होगा।सिम्स के डीन पी. के. पात्रा ने अपने उदबोधन में बताया कि छत्तीसगढ़ को शिक्षा व उच्च शिक्षा हेतु जिस अनुकूल वातावरण की आवश्यकता है उसकी पूर्ण भरपाई यह संस्था कर रही है।
समारोह के समापन पर सुनील प्रजापति ने उपस्थित सभी लोगों का आभार व्यक्त किया।संस्कृतिक कार्यक्रम का सफल संचालन श्रुति मजूमदार ने किया।
